रामगढ़ के इस मंदिर में कभी छत नहीं बन सकी, यहां माता सभी की मुरादें पूरी करती हैं

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गोंडा। आज हम आपको एक ऐसे मंदिर में ले चलेंगे जो जगह तो छोटी सी है और यहां मंदिर भी कोई खास नहीं है, लेकिन इस जगह की बड़ी मान्यता है। इस मंदिर की विशेषता है कि यहां कभी छत या शेड नहीं डाली जा सकी है। हालांकि इसकी कोशिश कई बार की गई, लेकिन हर बार असफलता ही हाथ लगी। यहां आसपास रह रहे लोगों का दावा है कि यहां माता हर किसी की मुराद पूरी करती हैं। इस जगह को यहां स्थानीय लोग समय माता का थान कहते हैं। आमतौर इस तरह का स्थान करीब करीब हर गांव में मिल जाएगा। ये कुल देवी भी कही जाती हैं, लेकिन रामगढ़ के इस मंदिर में हम आपको ले जा रहे हैं उसकी अपनी अलग ही मान्यता है।

यह मंदिर उत्तरप्रदेश के बलरामपुर जिले में स्थित है। जिला मुख्यालय से करीब 65 किलोमीटर दूर उतरौला तहसील में रामपुर ग्रिंट के पास रामगढ़ में यह मंदिर स्थित है। इस मंदिर के पीछे बड़ी ही मनोरम नदी बहती है, जिसके चारो तरफ काफी घना जंगल है। वैसे यह जगह घूमने के लिहाज से भी आपको प्रभावित कर सकती है। इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि यहां सच्चे मन मांगी गई हर मुराद माता पूरी करती हैं। यहां सप्ताह में एक दिन मंगलवार को बड़ा मेला सा लगता है। उस दिन यहां भक्तों की बड़ी भीड़ रहती है।

मंदिर के पुजारी दशरथ जी ने हमें बताया कि यहां मंदिर के उपर कभी छत नहीं बनाई जा सकीए एक बार यहां के एक जमींदार ने मंदिर के उपर छत बनवा दीए उसी दिन तेज हवा के साथ बाढ़ आ गई और पूरी छत उड़कर दूर जा गिरी। इसके बाद भी इसकी कोशिश की गइए लेकिन सफलता हाथ नहीं लगी।

यहां जाने के लिए आप अपने वाहन से जाएं तो काफी अच्छा है, क्योंकि काफी इंटीरियर में होने की वजह से यहां साधन कम उपलब्ध हैं। वैसे आप अगर लखनउ से आ रहे हैं तो आपको ट्रेन से पहले गोंडा आना पड़ेगा या फिर बस से आप गोंडा से और बलरामपुर से यहां पहुंच सकते हैं।

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