पैरालिंपिक गेम्स 24 अगस्त से 5 सितंबर के बीच टोक्यो में होना है। भारत 1968 से पैरालिंपिक गेम्स में भाग ले रहा है। अब तक भारत ने कुल 12 मेडल जीते हैं। भारत की तरफ से पहला मेडल 1972 जर्मनी पैरालिंपिक गेम्स में मुरलीकांत पेटकर ने जीता था। उन्होंने स्विमिंग में गोल्ड मेडल हासिल किया था।
भारत के लिए 2016 रियो पैरालिंपिक गेम्स सबसे सफल रहा। इस पैरालिंपिक गेम्स में भारतीय एथलीटों ने सबसे ज्यादा 4 मेडल जीते। इसमें 2 गोल्ड एक सिल्वर और एक ब्रॉन्ज शामिल है। रियो के अलावा 1984 न्यूयार्क में हुए पैरालिंपिक गेम्स में भी भारत को 4 मेडल मिले थे, पर इसमें एक भी गोल्ड शामिल नहीं था। एथेंस पैरालंपिक (2004) में भारत को एक गोल्ड और एक ब्रॉन्ज मेडल मिला जबकि लंदन पैरालिंपिक (2012) में गिरिशा नागराजगौड़ा ने सिल्वर मेडल जीता।
इस बार भारत के लिए 54 खिलाड़ी टोक्यो पैरालिंपिक में हिस्सा ले रहे हैं। भारत की ओर से पैरालिंपिक खेलों में भाग लेने वाला यह अब तक का सबसे बड़ा दल है। रियो पैरालिंपिक के दौरान भारत ने पांच खेलों के लिए सिर्फ 19 खिलाड़ियों का दल भेजा था, लेकिन टोक्यो में भारतीय एथलीट नौ अलग-अलग खेलों में भाग ले रहे हैं। इस बार भारतीय पैरालिंपिक खिलाड़ियों से 10 से ज्यादा मेडल जीतने की उम्मीद है। हम आपको ऐसे 10 पैरालिंपिक खिलाड़ियों के बारे में बताते हैं, जिनसे मेडल जीतने की उम्मीद है।